पंजाब में हाल ही में आई भयंकर बाढ़ से किसानों और आम लोगों को भारी नुक़सान हुआ। कई गांव पानी में डूब गए, फसलें तबाह हो गईं, घरों को नुक़सान पहुंचा और खेतों में रेत भर गई। ऐसे मुश्किल हालात में अब पंजाब सरकार ने बाढ़ प्रभावितों को राहत देने के लिए बड़ा कदम उठाया है।
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने विधानसभा के विशेष सत्र के अंतिम दिन यह ऐलान किया कि 15 अक्टूबर से किसानों और अन्य बाढ़ प्रभावितों को मुआवज़े के चेक दिए जाएंगे, ताकि दिवाली से पहले उनके घरों में खुशियां लौट सकें। मुख्यमंत्री ने कहा,
“दिवाली 20 अक्टूबर को है। इससे पहले हम यह सुनिश्चित करेंगे कि हर प्रभावित परिवार को मुआवज़े का चेक मिल जाए और उनके चेहरों पर खुशी के दीये जल उठें।”
फसल नुक़सान पर मुआवज़ा बढ़ा
मुख्यमंत्री ने कहा कि पहले किसानों को फसल के नुकसान के हिसाब से बहुत कम मुआवज़ा मिलता था, लेकिन अब इसे कई गुना बढ़ा दिया गया है। नई दरें इस तरह होंगी:
- 26%–33% नुकसान: पहले ₹2,000 → अब ₹10,000 प्रति एकड़
- 33%–75% नुकसान: पहले ₹6,800 → अब ₹10,000 प्रति एकड़
- 75%–100% नुकसान: पहले ₹13,600 → अब ₹20,000 प्रति एकड़
(इसमें SDRF का ₹6,800 शामिल है)
इस फैसले से बाढ़ प्रभावित किसानों को बड़ी राहत मिलेगी और उन्हें अपनी फसलों के नुकसान की भरपाई करने में मदद मिलेगी।
अन्य राहतें और मदद
पंजाब सरकार ने सिर्फ फसल ही नहीं, बल्कि खेतों, घरों और ज़मीन के नुकसान के लिए भी अलग-अलग राहत की घोषणा की है:
- खेतों में रेत हटाने और डीसिल्टिंग के लिए: ₹7,200 प्रति एकड़
- बह गई ज़मीन (गायब हो गई जमीन) के लिए: ₹47,500 प्रति हेक्टेयर
- घर के नुकसान के लिए:
- पूरी तरह से टूटे घर: ₹1,20,000
- आंशिक नुकसान वाले घर: ₹35,100
- फिरोजपुर और फाजिल्का में पानी निकालने के लिए: पहले ही ₹4.5 करोड़ जारी किए जा चुके हैं।
केंद्र सरकार पर हमला
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने केंद्र सरकार की राहत नीति की आलोचना की।
उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार ने केंद्र से ₹20,000 करोड़ की मदद मांगी थी,
लेकिन केंद्र ने सिर्फ ₹1,600 करोड़ ही जारी किए।
मुख्यमंत्री ने कहा,
“यह सिर्फ सरकार के साथ नहीं, बल्कि पंजाब के बाढ़ पीड़ितों के साथ भी अन्याय है।
पंजाब ने इतनी बड़ी आपदा का सामना किया, लेकिन मदद के नाम पर बहुत कम राशि भेजी गई।”
उन्होंने साफ किया कि पंजाब सरकार अपने दम पर प्रभावितों तक मदद पहुंचाएगी और किसी तरह की देरी नहीं होने दी जाएगी।
बाढ़ राहत कार्य में योगदान देने वालों का आभार
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस संकट के समय पंजाब के युवाओं, NDRF, भारतीय सेना, और NGO ने बेहद महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
“लाखों युवाओं ने अपनी जान की परवाह किए बिना बाढ़ में फंसे लोगों की जान बचाई।
कई युवाओं ने अपनी ट्रॉलियों में राशन भरकर प्रभावित इलाकों में वितरित किया।
यह पंजाब की सामाजिक एकता और सेवा भावना का सबूत है।”
आगे की कार्रवाई
- मुआवज़े से जुड़ी जानकारी की कॉपी प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और वित्त मंत्रालय को भेजी जाएगी।
- लक्ष्य है कि 15 अक्टूबर से चेक वितरण शुरू हो जाए और दिवाली तक सभी प्रभावित परिवारों तक राहत पहुँच जाए।
पंजाब सरकार का यह कदम साबित करता है कि वह अपने लोगों के साथ खड़ी है।
हालांकि केंद्र से मदद कम मिली है, फिर भी राज्य सरकार अपने संसाधनों का इस्तेमाल कर रही है ताकि हर किसान और परिवार की ज़िंदगी फिर से पटरी पर लौट सके।
15 अक्टूबर से चेक मिलने शुरू होंगे और उम्मीद है कि दिवाली से पहले पंजाब के हर बाढ़ प्रभावित घर में खुशियों के दीये जलेंगे।